सुखी वैवाहिक जीवन का राज

सुखी वैवाहिक जीवन का राज

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एक दंपत्ति नें जब अपनी शादी की 25
वीं वर्षगांठ मनायी तो एक पत्रकार
उनका साक्षात्कार लेने पहुंचा.
वो दंपत्ति अपने शांतिपुर्ण और सुखमय
वैवाहिक जीवन के लिये प्रसिद्ध थे.
उनके बीच
कभी नाम मात्र का भी तकरार नहीं हुआ था.
लोग उनके इस सुखमय वैवाहिक जीवन का राज
जानने को उत्सुक थे.....
पति ने बताया :
हमारी शादी के फ़ौरन बाद हम हनीमुन मनाने
शिमला गये. वहाँ हम लोगो ने घुड़सवारी की.
मेरा घोड़ा बिल्कुल ठीक था
लेकिन मेरी पत्नी का घोड़ा थोड़ा नखरैल था.
उसने दौड़ते दौड़ते अचानक मेरी पत्नी को गिरा दिया.
मेरी पत्नी उठी और घोड़े के पीठ पर हाथ
फ़ेर
कर कहा :
"यह पहली बार है",
और फ़िर उसपर सवार
हो गयी. थोड़े दुर चलने के बाद घोड़े ने फ़िर उसे
गिरा दिया. पत्नी ने घोड़े से फ़िर कहा : "यह
दुसरी बार है",
और फ़िर उस पर सवार हो गयी.
लेकिन थोड़े दुर जा कर घोड़े ने फ़िर उसे
गिरा दिया.
अबकी पत्नी ने कुछ नहीं
कहा.
चुपचाप अपना पर्स खोला,
पिस्तौल निकाली और घोड़े को गोली मार दी.
मुझे देखकर काफ़ी गुस्सा आया और मैं जोर से पत्नी पर
चिल्लाया : "ये तुमने क्या किया, पागल हो गयी हो?"
पत्नी ने मेरी तरफ़ देखा और कहा :
"ये पहली बार है"
और बस उसके बाद से हमारी ज़िंदगी सुख और
शांति से चल रही है |||

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